आयुष्मान भारत योजना में प्रवासियों को मिलेगा कोविड-19 का इलाज
आयुष्मान भारत योजना के तहत प्रवासी कामगारों/श्रमिकों को स्वास्थ्य बीमा लाभ प्रदान करने के लिए केन्द्र सरकार प्रवासी मजदूरों की राज्यवार सूची बना रही है।
प्रवासी मजदूरों को मुफ्त मिल सकेगा उपचार
कोरोनो वायरस संकट के तेज फैलाव के बीच केन्द्र सरकार अपनी महत्वाकांक्षी योजना आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (एबी-पीएमजेएवाई) के तहत स्वास्थ्य बीमा लाभ देने के लिए अलग-अलग राज्यों के प्रवासी श्रमिकों की सूची तैयार कर रही है।
दोस्तों, यह बात हम अपनी ओर से नहीं कह रहे हैं, बल्कि आयुष्मान भारत योजना का कार्यान्वयन करने वाली एजेंसी नेशनल हेल्थ अथॉरिटी (एनएचए NHA) ने पिछले दिनों दिल्ली में बयान जारी किया कि वह पात्र लाभार्थियों की पहचान करने के लिए राज्य सरकारों के साथ समन्वय कर रही है, और जल्द से जल्द प्रवासियों को एबी-पीएमजेवाई ई-कार्ड जारी करने की प्रक्रिया शुरू कर रही है। दोस्तों आपको बताना चाहेंगे कि भारत सरकार के इस कदम का उद्देश्य महामारी के दौरान गरीबों और वंचित तबके को हर हाल में स्वास्थ्य सुरक्षा सुनिश्चित करना है।
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हर साल ₹ 500000 का बीमा कवर
आयुष्मान भारत की कैशलेस योजना में गरीब और कमजोर परिवारों को प्रति वर्ष प्रति परिवार 5 लाख रुपये का स्वास्थ्य बीमा कवर प्रदान किया जाता है। वर्तमान में 10.74 करोड़ से अधिक गरीब और कमजोर परिवारों या लगभग 53 करोड़ व्यक्तियों को यह सुविधा प्रदान की जा रही है। इसमें माध्यमिक और तृतीयक देखभाल अस्पताल में भर्ती तक का खर्च शामिल है।
एनएचए (NHA) उन राज्यों के साथ सक्रिय रूप से समन्वय बनाकर काम कर रहा है जहां प्रवासी मजदूर लौट रहे हैं। एनएचए का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि सभी पात्र प्रवासी श्रमिक ई-कार्ड प्राप्त करें, ताकि वे देश भर के किसी भी अस्पताल में इलाज करवा सकें।
आयुष्मान भारत योजना प्रवासियों को देगी राहत
आयुष्मान भारत योजना का फायदा प्रवासी कामगारों को दिलाने के कदम से भारत की दर-बदर हो रही श्रम शक्ति को कुछ राहत मिल सकती है। यह वर्ग राष्ट्रव्यापी तालाबंदी के बाद से अत्यधिक संकट में हैं। इससे आजीविका और जीवन की हानि हुई है। इसके अलावा, उन्हें भुखमरी और स्वास्थ्य जटिलताओं का सामना करना पड़ा है। कई लोगों को अपने घरों तक पहुंचने के लिए सैकड़ों किलोमीटर की दूरी पैदल तय करने के लिए मजबूर होना पड़ा, जबकि कुछ भाग्यशाली थे कि उन्हें घरेलू राज्यों तक पहुंचने के लिए सार्वजनिक परिवहन की सुविधा मिली।
NHA ने इलेक्ट्रॉनिक और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय की प्रमुख पहल डिजीलॉकर के साथ नागरिकों को प्रामाणिक डिजिटल दस्तावेजों तक पहुँच प्रदान करने के लिए करार किया है। इस कदम का फायदा यह होगा कि प्रवासियों सहित सभी लाभार्थी आसानी से, कहीं भी, कभी भी ऑनलाइन अपने कार्ड का उपयोग कर सकते हैं। इससे पेपर कार्ड खोने के डर को दूर करने में मदद मिलेगी। इस पहल से तमाम ऐसें प्रवासी कामगारों व उनके परिवार के सदस्यों को मदद मिलेगी, जिन्होंने नौकरी छूटने के बाद अपने गाँवों को लौटते समय अपने दस्तावेज खो दिये।
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ऐसे में प्रवासी मजदूरों को आयुष्मान भारत योजना का ई-कार्ड जारी करने का फैसला हालात में बहुत बदलाव कर सकता है। अभी जो प्रवासी कामगार लक्षण होने पर भी अस्पतालों में इसलिए परीक्षण व इलाज के लिए नहीं जा पा रहे हैं क्योंकि उनके पास इसके लिए पैसे नहीं है, वे भी अपना इलाज करा सकेंगे।
तो आइये जानें कि आयुष्मान भारत योजना का कार्ड कैसे बनता है
आयुष्मान भारत योजना के बारे में
कार्ड कैसे बनेगा इससे पहले योजना के बारे में जान लें। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा शुरू आयुष्मान भारत योजना दुनिया का सबसे बड़ा स्वास्थ्य देखभाल कार्यक्रम है। यह योजना 25 सितंबर 2018 को अन्त्योदय के प्रणेता पंडित दीनदयाल उपाध्याय की जयंती के अवसर पर पूरे देश में लागू की गयी। सामाजिक आर्थिक जाति जनगणना (SECC) 2011 के डेटाबेस में गरीबी रेखा से नीचे जीवन-यापन करने वाले (बीपीएल) परिवार के रूप में सूचीबद्ध हर परिवार आयुष्मान भारत योजना में स्वत: नामांकित हो गया है।
आयुष्मान भारत योजना का कार्ड कैसे बनता है
दोस्तों, आपको बताना बहुत जरूरी है कि आयुष्मान भारत योजना यानि प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना का लाभ लेने के लिए आपको कोई आवेदन करने की ज़रूरत नहीं है। जैसा कि हम पहले ही बता चुके हैं कि सामाजिक आर्थिक जाति जनगणना (SECC) 2011 के डेटाबेस में गरीबी रेखा से नीचे जीवन-यापन करने वाले (बीपीएल) परिवार के रूप में सूचीबद्ध हर परिवार आयुष्मान भारत योजना में स्वत: नामांकित हो गया है।
अगर आपका परिवार पात्र हैं तो आयुष्मान भारत योजना का कार्ड अपने आप बन जाता है। इसे गोल्डन कार्ड नाम दिया गया है। https://mera.pmjay.gov.in/search/login पर एक छोटे से स्टेप के जरिये पता कर सकते हैं कि लाभार्थियों में आपका नाम है या नहीं।
- इस वेबसाइट पर आपको पहले अपना मोबाइल नम्बर और कैप्चा डालना है।
- इसके बाद मिलने वाला ओटीपी (OTP) डालकर आप अगले पेज पर पहुंचते हैं।
- यहां अपना राज्य और मोबाइल नम्बर भरने पर आपको तुरन्त जानकारी मिल जाती है कि आयुष्मान भारत योजना के लाभार्थियों में आपका नाम है या नहीं।
- अगर आपका परिवार प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना की सूची में सम्मिलित है तो आप उपचार के लिए किसी भी सूचीबद्ध अस्पताल में प्रति वर्ष 5 लाख रुपये तक का लाभ उठा सकते हैं।
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ऐसे खोजें आयुष्मान भारत योजना में सूचीबद्ध अस्पताल
- अपने गांव-घर के नजदीक आयुष्मान भारत योजना का अस्पताल खोजने के लिए आप इस लिंक पर क्लिक करें।
- अब जो पेज खुलेगा उस पर राज्य, जिला, अस्पताल का प्रकार (सरकारी या प्राइवेट), उसकी विशेषज्ञता (Speciality) और अगर अस्पताल का नाम भी पता हो तो डालकर कैप्चा भरें।
- Search का हरे रंग का बटन दबाते ही पूरा ब्योरा आपके सामने आ जायेगा।
आयुष्मान भारत योजना में शामिल होने की पात्रता
आयुष्मान भारत योजना की सबसे बड़ी विशेषता में शामिल होने के लिए परिवार के आकार और उम्र का कोई बंधन नहीं है।
सामाजिक आर्थिक जाति जनगणना 2011 में गरीबी रेखा से नीचे जीवन-यापन करने वाले (बीपीएल) परिवार के रूप में सूचीबद्ध परिवारों के सभी सदस्य इसके लिए पात्र है। सूचीबद्ध सरकारी व निजी अस्पतालों में इन सबका मुफ्त इलाज किया जायेगा।
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ग्रामीण इलाकों में
- मोटे तौर पर ग्रामीण इलाके में कच्चा मकान होना चाहिए।
- परिवार में कोई व्यस्क (16-59 साल) नहीं होना और परिवार की मुखिया महिला हो।
- परिवार में कोई दिव्यांग हो।
- अनुसूचित जाति और जनजाति से हों।
- भूमिहीन व्यक्ति व दिहाड़ी मजदूर हों।
- इसके अलावा, ग्रामीण इलाके के बेघर व्यक्ति।
- निराश्रित, दान या भीख मांगने वाले।
- आदिवासी और कानूनी रूप से मुक्त बंधुआ।
शहरी इलाकों में
- भिखारी, कूड़ा बीनने वाले, घरेलू कामकाज करने वाले।
- रेहड़ी-पटरी दुकानदार, मोची, फेरी वाले।
- सड़क पर कामकाज करने वाले अन्य व्यक्ति।
- कंस्ट्रक्शन साइट पर काम करने वाले मजदूर।
- प्लंबर, राजमिस्त्री, मजदूर, पेंटर, वेल्डर।
- सिक्योरिटी गार्ड, कुली और भार ढोने वाले अन्य कामकाजी व्यक्ति।
- स्वीपर, सफाईकर्मी, घरेलू काम करने वाले।
- हैंडीक्राफ्ट का काम करने वाले लोग, टेलर, ड्राइवर, रिक्शा चालक, दुकान पर काम करने वाले लोग।
आयुष्मान भारत योजना का गोल्डन कार्ड
- आयुष्मान भारत योजना का लाभ उठाने के लिए गोल्डन कार्ड बनवाना होगा।
- इस कार्ड के जरिये 5 लाख रुपये की सीमा तक पूरा इलाज मुफ्त होगा।
- यह गोल्डन कार्ड जन सेवा केंद्र और जिलाधिकारी के कार्यालय से प्राप्त किया जा सकता है।
- कार्ड को आप इसे केवल वहीं से डाउनलोड कर सकते हैं, जहां से आपने इसे बनवाया हो।
- गोल्डन कार्ड को जिस अधिकारी या एजेंट ने बनाया हो वहीं आपको डाउनलोड करके दे सकता है।
आयुष्मान भारत योजना का गोल्डन कार्ड ऐसे डाउनलोड करें।
- सबसे पहले आयुष्मान भारत की क्लाउड वेबसाइट pmjay.csccloud.in पर विजिट करें।
- वेबसाइट में विजिट करने के बाद आपको होम पेज पर लॉगिन का ऑप्शन नजर आएगा।
- उस ऑप्शन पर ईमेल आईडी और पासवर्ड डालकर साइन इन के बटन पर क्लिक करके साइन इन कर लें।
- साइन करने के बाद आधार कार्ड का नंबर डालें।
- अगले पेज पर अपने अंगूठे का निशान वेरीफाई करें।
- वेरीफाई करने के बाद आप लॉग इन करें।
- अंगूठा वेरीफाई करने के बाद जो पेज खुलेगा उस पर अप्रूवड बेनीफीसियरी पर क्लिक करें।
- इसके बाद जिनका गोल्डन कार्ड अप्रूव होगा, उनकी लिस्ट आएगी।
- नाम कन्फर्म कर प्रिंट के ऑप्शन पर क्लिक करें।
- सीएससी वेलेट पर रिडायरेक्ट हो जाएंगे।
- सीएससी वेलेट में सबसे पहले अपना पासवर्ड डालें. पासवर्ड के बाद पिन डालें।
- होम पेज पर आने पर डाउनलोड कार्ड आप्शन पर क्लिक करें।
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आयुष्मान भारत योजना के तहत मुफ्त इलाज के लिए, यह आलेख लिखे जाने तक (14 जून, 2020) 22,738 अस्पताल सूचीबद्ध किये गये हैं। 7 करोड़ 80 लाख 99 हजार 517 लाभार्थी परिवारों के लिए ई-कार्ड जारी किये जा चुके हैं। इनमें से 1 करोड़ 4 लाख 78 हजार 148 लोगों को मुफ्त इलाज के लिए अस्पतालों में भर्ती कराया गया। इनमें से 64,56,543 लाभार्थियों के चिकित्सा खर्च के रूप में 74 अरब 40 करोड़ 26 लाख 66 हजार 578 रुपये का भुगतान किया जा चुका है।
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अशोक कुमार सिंह एक अनुभवी पत्रकार, लेखक, फोटोग्राफर हैं। कई दशकों तक हिन्दी के कई प्रतिष्ठित अखबारों में संवाद लेखन और सम्पादन का कार्य करने के बाद अब Freelance Content Writer के रूप में कार्य कर रहे हैं।
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